बांका लाइव ब्यूरो : कहते हैं जब समय विपरीत हो तब एक चींटी भी हाथी तक की जान ले लेती है। ऐसा ही एक मामला बांका जिले में सामने आया है जहां मधुमक्खियों के हमले में आधे दर्जन लोग घायल हो गए। सभी घायल एक ही परिवार के हैं। इनमें से एक की बाद में मृत्यु हो गई। जबकि एक अन्य महिला की स्थिति भी गंभीर बनी हुई है, जिन्हें बेहतर इलाज के लिए रेफर किया गया है।
घटना बिहार के बांका जिला अंतर्गत चांदन प्रखंड की है। इस प्रखंड के बिरनियां पंचायत अंतर्गत सुपाहा गांव में एक परिवार के कुछ लोग खेतों में लगी मकई की फसल तोड़ने गए थे जहां मधुमक्खियों ने छत्ता लगा रखा था। परिवार के सब लोग जब मकई तोड़ रहे थे तब किसी की असावधानी की वजह से मधुमक्खियां भन्ना गईं। उन्होंने वहां मकई तोड़ रहे लोगों पर हमला कर दिया।
एकाएक हुए मधुमक्खियों के हमले में लोग संभल नहीं सके और जहां-तहां भागने लगे। मधुमक्खियों ने आधे दर्जन लोगों को अपना शिकार बनाया और उन्हें काटकर बुरी तरह जख्मी कर दिया। काफी शोरगुल होने पर बड़ी संख्या में लोग उधर दौड़े और घायलों को चांदन अस्पताल पहुंचाया। लेकिन पीड़ितों का इलाज अस्पताल की बदहाली की भेंट चढ़ गया। इलाज की मुकम्मल व्यवस्था नहीं होने की वजह से बताते हैं कि स्थानीय लोग आक्रोशित हो गए।
इसी दौरान मधुमक्खियों के हमले के शिकार 65 वर्षीय एक बुजुर्ग भरत पंडित की मौत हो गई जिससे लोग हंगामे पर उतर आए। हालांकि कुछ लोगों ने स्थिति को संभाला। डॉक्टरों ने उपलब्ध संसाधनों से ही पीड़ितों का इलाज शुरू किया। इनमें जमुनी देवी नामक एक महिला की हालत खराब देख डॉक्टर ने उन्हें बेहतर चिकित्सा के लिए देवघर रेफर कर दिया। शेष ललिता देवी, अजय पंडित, मालती देवी एवं दामोदर पंडित का इलाज अस्पताल में ही किया गया।