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बांका मदरसा ब्लास्ट : मामले में सरकार की सफाई, डीएम व एसपी ने कहा- देसी बम से हुआ विस्फोट, आतंकी कनेक्शन नहीं

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बांका : बांका के नवटोलिया मदरसा ब्लास्ट कांड के दो दिनों बाद इस मामले में गुरुवार को जिला प्रशासन ने सफाई दी है। डीएम और एसपी ने संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस कर इस ब्लास्ट कांड के किसी भी तरह आतंकी कनेक्शन की बात को खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा कि यह विस्फोट साधारण देसी बम से हुआ है। विस्फोट की वजह से मदरसे की दीवार गिरी और दीवार गिरने की वजह से उसकी छत भी ढह गई।

DM सुहर्ष भगत व SP अरविंद कुमार गुप्ता

अधिकारियों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि मदरसे में जो विस्फोट हुआ था, वह महज देसी बम का विस्फोट था। उन्होंने कहा कि मदरसे में देसी बम एक कंटेनर में रखा था। किसी तरह बम विस्फोट कर गया, जिससे मदरसे की दीवार गिर गई। दीवार गिरने से ही छत ढह गई। इस ब्लास्ट को लेकर प्रत्येक एंगल से पुलिस ने जांच की है, जिसमें किसी शक्तिशाली विस्फोटक के ब्लास्ट करने की पुष्टि नहीं हुई है। इस मामले में आईईडी के इस्तेमाल का भी कोई सुराग नहीं मिला है।

एसपी अरविंद कुमार गुप्ता ने बांका मदरसा ब्लास्ट कांड में किसी आतंकी कनेक्शन की बात को भी सिरे से खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा कि इस मामले में किसी आतंकी कनेक्शन की बात सामने नहीं आई है। पुलिस को जांच पड़ताल के दौरान ब्लास्ट में मारे गए मस्जिद और मदरसे के इमाम मौलाना अब्दुल सत्तार की आलमारी से 1.65 लाख रुपये बरामद हुए हैं। इसके अतिरिक्त वहां से कोई आपत्तिजनक दस्तावेज आदि बरामद नहीं हुए हैं।

जिलाधिकारी सुहर्ष भगत ने कहा कि जिस मदरसे में विस्फोट हुआ है वह रजिस्टर्ड नहीं है। उक्त मदरसा रैयती जमीन पर बना है जहां तकरीबन 50 बच्चे पढ़ते हैं। सरकार उस मदरसे का संचालन नहीं करती और ना ही सरकार की ओर से उस मदरसे को कोई आर्थिक सहायता ही दी जाती थी।

ज्ञात हो कि दो दिन पूर्व बांका टाउन थाना क्षेत्र के नवटोलिया मदरसा में भीषण ब्लास्ट हुआ था जिसमें मदरसे की पूरी बिल्डिंग ध्वस्त हो गई थी। इस घटना में मस्जिद और मदरसे का इमाम मौलवी अब्दुल सत्तार मारा गया था। कई और लोगों के इस घटना में घायल होने की खबर चर्चा में आई थी। आरंभिक दौर में इस ब्लास्ट के पीछे गैस सिलेंडर में विस्फोट होने की बात कही जा रही थी। हालांकि पड़ताल में गैस सिलेंडर ध्वस्त मदरसे के मलबे से बरामद हो गया बताते हैं।

इस बीच मामले की जांच के लिए फॉरेंसिक टीम एवं डॉग स्क्वायड को भी लगाया गया। फॉरेंसिक टीम के विशेषज्ञों ने हालांकि पहले ही दिन साफ कर दिया था की घटनास्थल से बारूद के गंध मिले हैं। हालांकि फिर भी विस्फोट के कारणों का खुलासा उन्होंने नहीं किया था। इधर बांका के मदरसा ब्लास्ट को लेकर बिहार के सियासी गलियारे का पारा गरम हो गया। इस ब्लास्ट कांड के आतंकी कनेक्शन की भी चर्चा होने लगी। नेशनल मीडिया में इस मदरसा ब्लास्ट कांड को लेकर हंगामा खड़ा हो गया।

इधर आतंकी कनेक्शन की चर्चा होने के बाद बांका मदरसा ब्लास्ट की जांच केंद्रीय जांच एजेंसी एनआईए द्वारा किए जाने की भी बात चर्चा में आई। मीडिया महकमे में एनआईए द्वारा इसकी प्रक्रिया भी शुरू कर दिए जाने की बात चर्चा में है। खबरों में तो यह भी कहा जा रहा है कि एनआईए की टीम पूरी तैयारी के साथ दिल्ली से बांका के लिए रवाना हो गई है। हालांकि ये ख़बरें अपुष्ट हैं। लेकिन इसी बीच जिला प्रशासन ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर मदरसा ब्लास्ट को लेकर अब तक हुई जांच और मिले तथ्यों का खुलासा कर दिया है।

अलबत्ता, कई अहम सवाल अब भी अनुत्तरित हैं। मसलन गांव के लोग फरार क्यों हैं! आधी से ज्यादा महिलाएं भी गांव छोड़ चुकी हैं! ब्लास्ट में मारे गए इमाम के अलमीरा से मिले 1.65 लाख रुपया कैसे थे? मदरसे में बम किसने रखा था? विस्फोट में घायल होने के बाद इमाम को इलाज के लिए कौन और कहां ले गया? फिर उसकी लाश किसने गांव में पहुंचा दी? इमाम जब मदरसे में ही रहता था तब मदरसे में कंटेनर में बम होने की बात क्या उसकी जानकारी में थी? …आदि ऐसे सवाल हैं जिनकी जांच होना अभी बाकी है।


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