दर्द एक जा’ हो तो बताएं कि यहां होता है.. वहां होता है, यहां तो रग-रग में दर्द होता है.. दरअसल बांका जिले में बालू के अवैध उत्खनन को लेकर भी यही हाल है। पूरे जिले में जहां कहीं भी बालू दिख रहा है, माफिया येन केन प्रकारेण उन्हें निकालने, बेचने और मालामाल होने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहे। अपने इस व्यापार को अक्षुण्ण रखने के लिए वे जिले को बड़ी भौगोलिक क्षति पहुंचाने से भी बाज नहीं आ रहे।
बांका लाइव ब्यूरो : बालू माफियाओं ने अत्यधिक कमाई के लालच में अपने स्वार्थ के लिए बांका जिले की चांदन नदी के सुरक्षा तटबंधों के बाद अगर सर्वाधिक भौगोलिक क्षति पहुंचाई है तो वह है इस जिले की पश्चिमी सीमा क्षेत्र से होकर बहने वाली बदुआ नदी। चांदन नदी के सुरक्षा तटबंधों को बुरी तरह क्षतिग्रस्त करने के बाद उन्होंने बदुआ नदी के तटबंधों को भी बालू का अवैध उत्खनन करने के लिए क्षत-विक्षत कर दिया है।
बालू माफियाओं की इसी करतूत से जुड़ा एक वीडियो पिछले कुछ दिनों से यह वायरल हो रहा था। वायरल वीडियो और कुछ स्थानीय क्षेत्रीय लोगों की शिकायत पर आखिरकार जिला प्रशासन को भी हस्तक्षेप करना पड़ा। जिला प्रशासन द्वारा इस मामले की जांच कराई गई। जांच में पुष्टि होने के बाद जिला प्रशासन के आदेश पर इस मामले में एक दर्जन लोगों के खिलाफ एफ आई आर दर्ज किए गए। उन पर बालू के अवैध उत्खनन के लिए बदुआ नदी के सुरक्षा तटबंध को क्षतिग्रस्त करने का आरोप लगाया गया।
ताजा जानकारी के अनुसार शंभूगंज पुलिस ने इस मामले में कार्रवाई करते हुए चार आरोपियों को धर दबोचा है। पुलिस के अनुसार गिरफ्तार सभी आरोपी जिले की सीमा से लगे मुंगेर जिले के राणाडीह गांव के निवासी हैं। थानाध्यक्ष शंभूगंज के मुताबिक गिरफ्तार सभी आरोपियों को फॉरवर्ड कर दिया गया है। थानाध्यक्ष के अनुसार इन बालू माफियाओं ने शंभूगंज प्रखंड के पौकरी एवं वैदपुर पंचायत से लगी बद्दुआ नदी से बालू निकालने के लिए नदी के सुरक्षा तटबंध को क्षतिग्रस्त कर दिया था और कर रहे थे। थानाध्यक्ष के अनुसार इस मामले में फरार अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए भी छापामारी की जा रही है।