बांका लाइव ब्यूरो : बांका बिहार का एक ऐसा जिला है जहां की सीमा तीन ओर से झारखंड से लगी है। इसका लाभ शराबबंदी एवं इसे लागू करने के तमाम सरकारी उपायों के बावजूद शराब तस्कर खूब उठाते रहे हैं। बालू तस्करी को लेकर भी बांका जिला बिहार भर में हमेशा से चर्चा में रहा है। सरकार और प्रशासन की तमाम कोशिशों और कवायद के बाद भी इस जिले में सक्रिय बालू एवं शराब तस्करों की नकेल पूरी तरह नहीं कसी जा सकी है।
लिहाजा पुलिस प्रशासन ने इस जिले में शराब तस्करों के साथ-साथ बालू माफियाओं को कंट्रोल करने के लिए एक नई तरकीब ढूंढ निकाली है। इस तरकीब के अंतर्गत प्रारंभिक कड़ी में उनकी सक्रियता के खिलाफ कड़ी निगरानी एवं पेट्रोलिंग का रास्ता पुलिस ने अख्तियार किया है। बालू एवं शराब तस्करों की निगरानी के लिए नए हथियार के तौर पर ट्रैक्टर सवार कमांडो की 4 एवं 10 बाइक सवार कमांडो की स्पेशल टास्क फोर्स का गठन कर उन्हें सक्रिय कर दिया गया है। उन्हें उनके लिए निर्धारित मकसद पर केंद्रित होकर कार्रवाई का भी आदेश दिया गया है।
एसपी अरविंद कुमार गुप्ता के मुताबिक यह व्यवस्था जल्द ही पूरे बांका जिले के सभी थानों में लागू की जाएगी। लेकिन फिलहाल बांका थाना क्षेत्र में इसे सक्रिय कर दिया गया है। स्पेशल टास्क फोर्स क्षेत्र में बालू एवं शराब के अवैध कारोबारियों पर नजदीक से नजर रखते हुए उन्हें धर दबोचने के लिए रात दिन एक करेगी। उन्होंने कहा कि जिले में अपराध नियंत्रण सबसे बड़ा टास्क है और इसके लिए पुलिस ने पूरी तरह कमर कस ली है। जिलाधिकारी सुहर्ष भगत एवं एसपी अरविंद कुमार गुप्ता ने नवगठित टास्क फोर्स को झंडी दिखाकर रवाना किया।
सामान्य से लेकर खूंखार अपराधियों तक पर नजर रखने की हिदायत चौकीदारों एवं दफादारों तक को भी की गई है। उन्हें क्षेत्र में किसी भी तरह की असामान्य गतिविधियों, हलचल या आपराधिक सक्रियता की सूचना निरंतर और फ्रिक्वेंटली मुख्यालय तक पहुंचाने का आदेश दिया गया है। सीमावर्ती क्षेत्रों में तस्करों एवं माफिया तत्वों के साथ-साथ अपराधी तत्वों पर अधिकतम निगरानी रखने का आदेश भी संबंधित पुलिस थानों को दिया गया है। इस संबंध में समाहरणालय सभागार में आयोजित क्राइम मीटिंग में एसपी ने अधिकारियों को आवश्यक दिशा नर्देश भी जारी किए। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि इस मामले में किसी भी प्रकार की कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।